भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी के राज्य सचिव व पूर्व हरलाखी विधायक राम नरेश पाण्डेय ने त्रिस्तरीय पंचायत प्रतिनिधियों के कार्यकाल 6 माह विस्तारित करने हेतु मुख्यमंत्री को चिट्ठी लिखी है.
उन्होंने कहा कि समाचार पत्र में आयी खबर के अनुसार कोरोना वायरस महामारी की प्रतिकूल परिस्थिति में पंचायत चुनाव कराना असंभव बताते हुए बिहार सरकार त्रिस्तरीय पंचायती राज के जनप्रतिनिधियों के अधिकारों को नौकरशाह को सौंपने की तैयारी कर रही है। खबर के अनुसार ग्राम पंचायत, पंचायत समिति एवं जिला परिषद के अधिकार ग्राम पंचायत सचिव, प्रखण्ड विकास पदाधिकारी एवं उप विकास आयुक्त को दिए जाएंगे। यह भारत के संविधान के अनुच्छेद 40 और 73वें संशोधन की अवहेलना है। भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी इस दिशा में की जा रही तैयारी की कोशिश को गलत मानती है.
पूर्व हरलाखी विधायक ने कहा कि त्रिस्तरीय पंचायत प्रतिनिधियों का चुनाव तो समय पर कराना पूरी राज्य सरकार और राज्य निर्वाचन आयोग की जवाबदेही है। पांच राज्यों के विधान सभाओं एवं उत्तर प्रदेश में ग्राम पंचायतों के चुनाव हुए लेकिन बिहार में बैलेट पेपर और ईवीएम की नूरा कुश्ती में ग्राम पंचायत चुनाव को टाला जाता रहा। अब कोरोना वायरस की महामारी में चुनाव कराना संभव नहीं है।अगर समय रहते निर्णय लिया जाता तो कोरोना की दूसरी लहर के पहले ही ग्राम पंचायत चुनाव संपन्न हो जाता। चुनाव समय सीमा के अंदर नहीं कराया जाना सरकार एवं राज्य निर्वाचन आयोग की विफलता है। चुनाव टाल कर पंचायती राज के जनप्रतिनिधियों के अधिकारों को नौकरशाह को सुपुर्दगी लोकतंत्र और संविधान की आत्मा के विरूद्ध होगा।
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