बेनीपट्टी (मधुबनी) कन्हैया मिश्रा : बाढ आयी तो मचेगी भारी तबाही।जी हां बेनीपट्टी प्रखंड के लगभग सात बाढग्रस्त पंचायतों को सुरक्षा देने वाला महाराजी बांध के जर्जरता के कारण बाढ आने पर भारी तबाही तय दिख रही है।वहीं बिस्फी प्रखंड में भी बांध के जर्जर होने की सूचना प्रशासनिक अधिकारियों के द्वारा दी जाने के बाद भी बाढ नियंत्रण प्रमंडल बांध के मजबूती के लिए कोई ठोस पहल नहीं की है।जानकारी दें कि नेपाल के तराई इलाकों में भारी बारिस होने से लगभग हर वर्ष बाढ आ जाती है।जिससे जानमाल की रक्षा के लिए मलहामोर पर बनाये गये सुरक्षा बांध वर्षो से मरम्मति की आस लगाये बैठा है,वहीं पाली के मंझिला टोल,उतरवारी टोल,रानीपुर मतरहरी,खसियाघाट,सिमरकोण,मेघवन पंचायत भवन के सामने के बांध में इतने रेनकट के कारण गढ्ढे व मिट्टी कटाव के कारण बांध जर्जर हो चुका है कि अगर नेपाल की ओर पांच फीट भी पानी का बहाव हुआ तो तबाही तय नजर आ रही है।भारी मात्रा में पानी आने से बेनीपट्टी प्रखंड के बर्री,शाहपुर,बसैठ,मेघवन,पाली,बनकट्टा व करहारा पंचायत का डूबना तय होगा।भारी जानमाल की क्षति होगी।

रानीपुर में बांध कटाव दिखाते ग्रामीण

ज्ञात हो कि बांध निर्माण के नाम पर एजेंसिया लगातार मनमानी करती आ रही है।फलस्वरुप बांध कभी पूर्णरुपेण मजबूत हुआ ही नहीं।वर्ष 2012 में बाढ नियंत्रण प्रमंडल झंझारपुर के द्वारा लगभग दो करोड की राशि खर्चकर लगभग 16.5 किमी में बांध मरम्मति का कार्य किया था।वहीं 2014 में बसैठ पंचायत भवन के समीप से लेकर रानीपुर गांव तक बांध निर्माण व बांध पर खंरजाकरण का कार्य लगभग एक करोड 88 लाख से किया गया था।एजेंसी के द्वारा घटिया कार्य के कारण निर्माण के कुछ ही दिनों के बाद खंरजा के सारे ईंट उखड गये तो बांध पर मवेशी के चलने से मिट्टी जगह-जगह कटाव कर चुका है।पाली पंचायत में हुए बांध कार्य में तो लूट-खसोट जमकर की गई।उक्त बांध को एक भी बाढ से सामना हुए बगैर ही बांध की हालत खराब हो गयी।गत दिनों एसडीएम के बांध निरीक्षण में बांध की स्थिति साफ हो गई।पाली में दर्जन भर जगहों पर बांध कटाव कर चुका है।वहीं एसडीएम के निरीक्षण काल में ही रानीपुर मतरहरी के ग्रामीणों ने बांध निर्माण को लेकर एसडीएम से त्राहिमाम किया।सनद रहें कि वर्ष 2011 के अंत में आयी बाढ से रानीपुर गांव में ही बांध टूट गया था।जिससे ग्रामीणों को लगभग एक सप्ताह छत पर रात-दिन गुजारना पडा था।एसडीएम राजेश मीणा ने बताया कि बाढ नियंत्रण प्रमंडल झंझारपुर को बांध मरम्मति के संबध में पत्र दिया जा चुका है।बांध को बाढ से पूर्व ही मजबूत करा लिया जायेगा।

बांध में कटाव के कारण बने गढ्ढे


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