मधुबनी। जिलाधिकारी अरविन्द कुमार वर्मा की अध्यक्षता में समाहरणालय स्थित सभाकक्ष में जिला विकास समन्वय समिति की बैठक आयोजित हुई। जिलाधिकारी द्वारा जल जीवन हरियाली, हर घर नल का जल, डब्लू आई एम सी का गठन, सीपी ग्राम, सामाजिक सुरक्षा कोषांग से जुड़े मामले, सेवांत लाभ सहित विभिन्न मामलों की समीक्षा की गई। 

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उन्होंने अतिक्रमित सार्वजनिक जल संरचनाओं को अविलम्ब अतिक्रमण मुक्त करवाने एवं  जीर्णोद्धार कार्य पूर्ण करवाने को लेकर निर्देश दिया साथ ही जिले के उपेक्षित तालाबों के बारे में पूर्व से जारी निर्देश पर किए गए अनुपालन की समीक्षा की और आवश्यक निर्देश दिए। आवास योजना की समीक्षा करते हुए जिलाधिकारी ने प्रखंडवार कितने  अपूर्ण आवास योजना के साथ-साथ कितनों लाभुकों पर राशि उठाव करने के पश्चात भी आवास न बनाकर राशि गबन करने के कारण नीलाम पत्र वाद दायर किया गया है और ऐसे कितने लाभुकों पर प्राथमिकी दर्ज कराई आदि संबधित विस्तृत समीक्षा किया। उन्होंने निर्देश दिया की निम्न प्रदर्शन करने वाले आवास सहायक पर जबाबदेही तय कर करवाई करें।

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जिलाधिकारी ने हर घर नल का जल योजना के अंतर्गत जल आपूर्ति की समीक्षा भी की और उपस्थित सभी प्रखंड विकास पदाधिकारियों से बारी बारी पूछा कि गत बैठक के उपरांत कितने वार्डों में नल जल योजना का कार्य आरंभ करवाया गया है। कार्य अपूर्ण रखते हुए, कितने वार्ड सदस्यों द्वारा राशि गबन कर ली गई और इसके परिणाम स्वरूप कितने वार्ड सदस्यों पर नीलाम पत्र वाद दायर किया गया है। उन्होंने निर्देश दिया कि सरकारी राशि उठाव कर गबन कर लेने वाले पर प्राथमिकी दर्ज की जाए। उन्होंने उपस्थित अधिकारियों से इस बात की ताकीद भी की कि उनके अंतर्गत कितने वार्डों में नल जल योजना के सफल संचालन हेतु लिए जाने वाले मासिक शुल्क की वसूली की गई है! उन्होंने स्पष्ट किया कि स्वावलंबी ग्राम पंचायत राज व्यवस्था स्थापित करने के लिए ग्राम पंचायतों को जल मीनार के मेंटेनेंस और कनेक्शन में आने वाली त्रुटि को मासिक शुल्क एकत्रित कर दूर करने के प्रयास करने चाहिए। 

जिलाधिकारी ने स्पष्ट किया कि उनके क्षेत्र निरीक्षण के दौरान यदि आवास योजना अथवा नल जल योजना का कार्य लंबित पाया जाता है तो वे इस बात की पड़ताल करेंगे कि दोषी के विरुद्ध प्राथमिकी दर्ज करवाई गई है या नहीं।

उन्होंने डब्लू आई एम सी के गठन को वार्डों के विकास के लिए अहम कदम बताया और अधिकारियों को इसे जल्द से जल्द गठित कर लेने के निर्देश दिए। उन्होंने सभी प्रखंड कार्यालयों में कर्म पुस्तिका और आगत निर्गत पंजीयों के समुचित संधारण पर विशेष बल देते हुए कार्यालयों की कार्य संस्कृति के सुधार के निर्देश दिए।

उक्त बैठक में नगर आयुक्त अनिल चौधरी, जिला पंचायत राज पदाधिकारी, शैलेंद्र कुमार, प्रभारी पदाधिकारी, जिला विकास शाखा, आरती कुमारी, जिला कृषि पदाधिकारी, अशोक कुमार, डायरेक्टर डीआरडीए, राजेश्वर प्रसाद, डीपीओ, सर्वशिक्षा, राजेश कुमार मिश्र एवं अन्य अधिकारियों सहित सभी प्रखंडों के प्रखंड विकास पदाधिकारी उपस्थित थे।


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