बेनीपट्टी (मधुबनी)। समाज में बेटा-बेटी के बीच किस कदर फर्क किया जाता है, उसका ताजा मसला अरेर के जरैल गांव से सामने आया है। जहां गांव के दक्षिण टोला स्थित डबरा में एक दिन की बच्ची नवजात को फेंक दिया गया। लोगों ने बच्ची की स्थिति देख बताया है कि जिसने ये कुकृत्य किया है, वो जन्म लेते ही बच्ची को देर रात खुले में फेंक कर गायब हो गया है।
दरअसल, उक्त डबरे में नवजात बच्ची को देखने के बाद भीड़ जुटने लगी थी लेकिन लोग बच्ची को बाहर नहीं निकाल रहे थे। जिसके बाद सुबह पूजा करने के बाद मंदिर से लौट रहे डॉ अजित झा की नजर बच्ची पर गयी। उन्होंने बच्ची को देख पूजा छोड़कर बच्ची को बाहर निकाले और उसी अवस्था में बच्ची को लेकर बेनीपट्टी थाना पहुंचे, जहां बेनीपट्टी थानाध्यक्ष सह पुलिस निरीक्षक महेंद्र कुमार सिंह ने उनसे नवजात को लेकर प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र जाने के लिए कहा। जहां मासूम की स्थिति को देखते हुए पीएचसी प्रबंधन तुरंत एक्शन में आते बच्ची को गर्म ताप पर सेंक कर तुरंत इलाज शुरू कर दिया। जिसके कारण मासूम की जिंदगी बच गयी।
चिकित्सकों की माने तो उक्त बच्ची को रात भर बाहर रखा गया है। ठंड के कारण मासूम की स्थिति खराब हो गयी थी। उधर, बेनीपट्टी एसएचओ सह पुलिस निरीक्षक महेंद्र कुमार सिंह ने बताया कि मासूम की बरामदगी की सूचना चाइल्ड हेल्प लाइन को दी जा चुकी है। इधर गांव में नवजात को फेंके जाने की घटना चर्चा का विषय बनी हुई है।
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