बेनीपट्टी(मधुबनी)। बेनीपट्टी के मुखिया विमल देवी की मुसीबत थमने का नाम ही नहीं ले रहा है। पंचायत के सात निश्चय योजना की राशि को फर्जी तरीके से निकासी के मामले में कार्रवाई तेज हो गई है। जिलाधिकारी शीर्षत कपिल अशोक ने फर्जी तरीके से निकासी व मुखिया के लगातार फरार होने पर पदच्यूत के लिए बिहार पंचायती राज विभाग के प्रधान सचिव को अनुशंसा कर दी है। जिससे मुखिया का पदच्यूत होना तय माना जा रहा है। वहीं दूसरी ओर इसी मामले में मुखिया विमल देवी का पति सह पूर्व मुखिया गनौर सदाय की गिरफ्तारी होना भी मुखिया के लिए झटका माना जा रहा है। डीएम ने मुखिया विमल देवी को पदच्यूत करने की अनुशंसा बिहार पंचायती राज अधिनियम, 2006 की धारा-18 (5) के तहत कर दी है। गौरतलब है कि आठ फरवरी को बेनीपट्टी पंचायत के सात निश्चय योजना की राशि में 79 लाख की फर्जी तरीके से निकासी कर लेने का भंडा स्वयं पंचायत सचिव ने फोड़ दी थी। जिसके बाद पूरे प्रशासनिक अमला सकते में आ गया। मीडिया के द्वारा जानकारी दिए जाने के बाद एसडीएम मुकेश रंजन ने तत्काल मामले की जांच करने का निर्देश बीडीओ को दिया। वहीं डीएम ने पूरे मामले को गंभीरता से लेते हुए प्रखंड विकास पदाधिकारी, बेनीपट्टी को जांच कर 24 घंटे के अंदर प्रारंभिक रिपोर्ट देने का निर्देश दिया। बीडीओ की ओर से प्रेषित रिपोर्ट का अवलोकन कर डीएम ने बीडीओ को फर्जी निकासी के मामले में प्राथमिकी दर्ज करने का निर्देश दिया। जिसके बाद बीपीआरओ गौतम आनन्द ने 10 फरवरी को बेनीपट्टी थाना में फर्जी निकासी का सूत्रधार रामबाबू यादव, मुखिया विमल देवी, पूर्व मुखिया गनौर सदाय, पंचायत सचिव शिवनारायण यादव व संबंधित बैंक कर्मी के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज कराई। प्राथमिकी दर्ज होने के बाद से रामबाबू यादव, मुखिया विमल देवी व पंचायत सचिव भूमिगत हो गए। उधर, सूत्रां की माने तो पंचायत सचिव शिवनारायण यादव पर विभागीय कार्रवाई शुरु कर दी गई है।


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